इन 5 कारणों के चलते नहीं खरीदने चाहिए चाइनीज़ स्मार्टफोन्स

5/20/2020 7:43:54 PM

गैजेट डैस्क: इन दिनों पूरी दुनिया को COVID 19 (कोरोना वायरस) ने अपनी चपेट में लिया हुआ है। यह जानलेवा वायरस वुहान वायरोलॉजी लैब से पूरी दुनिया में फैला है। यह बात सामने आने पर कम्पनियां अपने प्रोडक्ट्स की प्रोडक्शन को अब चीन की बजाए भारत में करना चाहती हैं।

अब तक अमरीका ने चीनी कम्पनी हुआवेई के प्रति कार्रवाई करते हुए शुक्रवार को नए प्रतिबंध लगा दिए हैं जिसके तहत हुआवेई अब अमेरिकी टेक्नोलॉजी और सॉफ्टवेयर्स का इस्तेमाल नहीं कर सकेगी। इससे पहले भी हुआवेई के स्मार्टफोन्स अमेरिका में बेचने पर पाबंदी लगाई गई थी क्योंकि इनसे प्राइवेसी का खतरा है। आज हम आपको ऐसे 5 कारणों के बारे में बताएंगे जिससे आपको आसानी से पता चलेगा कि चाइनीज़ स्मार्टफोन्स को क्यों नहीं खरीदना चाहिए।

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1. प्राइवेसी इश्यूज़

शाओमी पर आरोप है कि यह यूजर्स के ब्राउजर का डाटा चीनी रिमोट सर्वर पर सेंड करती है। सिक्योरिटी रिसर्चर्स ने दावा किया है कि यह कम्पनी अलीबाब को होस्ट करने वाले सर्वर पर आपके ब्राउजर का डाटा पहुंचाती है। इसके अलावा इसके फोन्स में प्रीलोडिड एप्प का डाटा भी कम्पनी तक पहुंचता है। NDTV गैजेट्स 360 के मुताबिक यह कम्पनी आपकी ब्राउजर हिस्ट्री को रिकार्ड करती है। सिक्योरिटी रिसर्चर्स गेबी सर्लिग और एंड्रयू टिएर्नी ने कहा है कि शाओमी फोन्स में बहुत से बैकडोर्स हैं जिससे कम्पनी यूजर का डाटा चोरी करती है। यह खामी उन्हें रेडमी नोट 8 में सामने आई है। उन्होंने बताया कि आपकी प्राइवेट लाइफ की जानकारी इन चाइनीज़ फोन्स से एक्सपोज़ हो रही है।

2. LOW क्वालिटी

चीनी ब्रांड्स जैसेकि शाओमी, वीवो, ओप्पो, रियलमी, वनप्लस और हुआवेई के स्मार्टफोन्स भारत में सिर्फ एक कारण से बिकते हैं क्योंकि इनकी कीमत अन्य के मुकाबले बहुत कम है, लेकिन क्या आपको पता है कि कीमत के साथ-साथ इनकी क्वालिटी भी अन्य कम्पनियों के स्मार्टफोन्स के मुकाबले काफी लो है, यानी खराब है। चीनी स्मार्टफोन्स हाई क्वालिटी मटीरियल्स से बने नहीं होते हैं। आपने देखा होगा कि इनमें एल्यूमीनियम का भी प्रोयोग कम ही होता है जिससे आप इनकी क्वालिटी का अंदाजा लगा सकते हैं।

3. FAKE प्रोडक्ट्स

चीनी कम्पनियां अपने सामान को बेचने के लिए ऑनलाइन सेल का आयोजन करती हैं। इस दौरान ग्राहक को बिना स्मार्टफोन की क्वालिटी और वो किस तरह का असल में दिखता है बिना दिखाए तस्वीर के जरिए ही उसे बेच दिया जाता है। फोन बेचने के बाद ग्राहक को वो पसंद आया या नहीं इससे इन चीनी कम्पनियों को कोई लेना देना नहीं होता। ये सिर्फ अपने प्रोडक्ट के फीचर्स दिखा कर बेचना ही जानती हैं। यही कारण है कि सिर्फ कुछ सैकेंड्स में ही इनके सारे फोन आउट ऑफ स्टॉक हो जाते हैं।

4. ग्राहकों को गुमराह करती हैं कम्पनियां

चीनी कम्पनियां अपने स्मार्टफोन्स को बेचने के लिए ग्राहकों को गुमराह करती हैं। ये कम्पनियां DSLR कैमरे से खींची गई तस्वीरों को अपने स्मार्टफोन्स की बताती है जोकि बहुत गलत बात है। चीनी कम्पनी हुआवेई ने Nikon D850 की तस्वीर को अपने Huawei P30 की तस्वीर बताया था। सच सामने आने पर कम्पनी को आलोचनाओं का सामना करना पड़ा था।

5. हाई रिस्क

चीन के स्मार्टफोन्स में ब्लास्ट होने की खबरें आए दिन सामने आती रहती हैं। इन स्मार्टफोन्स की लो क्वालिटी होने के कारण इनमें बलास्ट हो जाता है। अब तक शाओमी Redmi 6A, Redmi note 7s, Redmi note 7 pro और Vivo V5's जैसे स्मार्टफोन्स में ब्लास्ट होने की खबरें सामने आ चुकी हैं। इसके अलावा वनप्लस 8 जैसे प्लैगशिप स्मार्टफोन्स में भी ब्लैक क्रश डिस्प्ले की समस्या सामने आई है। ऐसे में यह कहना गलत नहीं होगा कि अगर आप चीनी कम्पनी का महंगा फोन भी खरीदते हैं तो भी उसमेें हाई रिस्क है जोकि आने वाले समय में आपके लिए परेशानी का कारण बन सकता है। 


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Hitesh

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